Ajit Kumar Kar
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Wednesday, 11 February 2015
संत
जिस प्रकार से हम (संसार वाले) बाहरी चीज़ देखते हैं उसी प्रकार संत और भगवान आंतरिक चीजें ही देखते हैं ।
------ श्री महाराजजी ।
राधे - राधे ।
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